तबाही वाली बारिश… उत्तराखंड में 13 की मौत, हिमाचल में 49 लोग अभी भी लापता, केदारनाथ में रेस्क्यू जारी

नई दिल्ली: पहाड़ी राज्यों में इन दिनों बारिश आफत बनकर आई है. उत्तराखंड और हिमाचल प्रदेश में बारिश के कारण कई लोगों को मौत हो गई है. जानकारी के अनुसार उत्तराखंड में अबतक 13 लोगों की मौत हुई है. हरिद्वार में चार, टिहरी में तीन, देहरादून में तीन, चमोली ,रुद्रप्रयाग और नैनीताल में एक-एक व्यक्ति की मौत की खबर है. जबकि 16 लोगों के लापता होने की सूचना है. इसी बीच केदारनाथ में फंसे 2537 यात्रियों को रेस्क्यू कर लिया गया है. 737 यात्रियों को हेलीकॉप्टर से निकाला गया. रेस्क्यू अभियान में चिनूक और MI 17 भी तैनात किए गए. आज भी रेस्क्यू ऑपरेशन लगातार जारी रहेगा.

नदियों का जलस्तर बढ़ा

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उत्तराखंड में भारी बारिश से नदियों का जलस्तर बढ़ गया है. इसके कारण कई जगहों पर बाढ़ की स्थिति बनी हुई है. तेज बहाव के कारण सड़कें बहने से कई लोग फंसे हुए हैं. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी उत्तराखंड के आपदा पर नजर बनाए हुए हैं. यहां पर रेस्क्यू के लिए एयरफोर्स का चिनूक, एमआई 17 और तीन टैंकर एटीएफ को भेजा गया है. मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के अनुरोध पर पीएमओ ने हर आवश्यक सहायता के प्रति आश्वस्त किया है. भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा भी स्थित पर नजर बनाए हुए हैं.

09 घंटे के रेस्क्यू के बाद बचाई जान

31 जुलाई, 2024 को चौकी लिनचोली से मिली सूचना पर एसडीआरएफ की एक टीम ने एक व्यक्ति को बचाया.  जब टीम लिनचोली से दो किलोमीटर पहले पहुंची, तो उन्हें किसी व्यक्ति की मदद की पुकार सुनाई दी. उन्होंने पाया कि एक व्यक्ति थारू कैम्प के पास बड़े पत्थरों के नीचे दबा हुआ था.

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लगभग 9 घंटों की कठिन और साहसिक कोशिशों के बाद, एसडीआरएफ की टीम ने केदारनाथ और एनडीआरएफ की सहायता से व्यक्ति गिरीश निवासी चमोली को सुरक्षित रूप से बचाया और उसे तत्काल चिकित्सा सहायता के लिए हेलीकॉप्टर से उच्च चिकित्सा केंद्र भेजा गया. इसके अलावा, एक मृत व्यक्ति को भी निकालकर चौकी लिनचोली को सौंपा गया.

हिमाचल प्रदेश में बारिश का कहर

हिमाचल प्रदेश में बुधवार मध्यरात्रि भारी बारिश ने कहर बरपाया है. छह जगह बादल फटने से भारी तबाही मची है. प्रदेश में 49 लोग लापता हो गए हैं. अभी तक 5 शव बरामद हो चुके हैं. 47 घर, 10 दुकानें, 7 पुल, तीन स्कूल, एक डिस्पेंसरी, बस अड्डा, 18 वाहन, दो बिजली प्रोजेक्ट और एक बांध बह गए हैं.

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Commentsकुल्लू जिले में नैन सरोवर, भीमडवारी, मलाणा, मंडी में राजवन, चंबा में राजनगर और लाहौल के जाहलमा में बादल फटने की घटनाएं सामने आई हैं. इस मानसून ने एक रात की बारिश ने बीते साल की आपदा की यादें ताजा कर दी हैं. प्रदेश में सात घंटों में सामान्य से 305 मिलीमीटर ज्यादा बारिश रिकॉर्ड हुई है.

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